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हम चुपचाप बैठो और हमारे चारों तरफ दुनिया देखते हैं. यह हमें ले लिया है एक जीवन भर के लिए सीख लो. ऐसा लगता है कि केवल पुराने एक दूसरे से और कुछ भी नहीं कहना है के बगल में बैठते हैं और अभी भी सामग्री को महसूस कर सकते हैं. युवा ढीठ और अधीर, हमेशा चुप्पी तोड़ना होगा. यह एक बेकार है, के लिए मौन पवित्र है. मौन पवित्र है. यह लोगों के कारण ही है जो एक दूसरे के साथ सहज महसूस कर रहे हैं वे एक साथ ड्रॉ बोल बिना बैठ सकते हो. यह बड़ा विरोधाभास है.
— (book)
by Nicholas Sparks
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Language: | Hindi |
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